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SAIL BSP: आयरन ओर माइंस राजहरा के मजदूर उतरे सड़क पर, मांगा 26 हजार वेतन

SAIL BSP: आयरन ओर माइंस राजहरा के मजदूर उतरे सड़क पर, मांगा 26 हजार वेतन
  • डायरेक्टर इंचार्ज भिलाई इस्पात संयंत्र को संबोधित ज्ञापन मुख्य महाप्रबंधक आईओसी राजहरा को सौंपा गया।

सूचनाजी न्यूज, राजहरा। राष्ट्रीय स्तर पर ठेका मजदूरों के शोषण के खिलाफ सेंटर ऑफ इंडियन ट्रेड यूनियन (सीटू) (Centre of Indian Trade Unions (CITU)) के द्वारा तमाम उद्योगों में सोमवार को प्रदर्शन कर ज्ञापन सौंपा गया। जिसमें ठेका श्रमिकों की बुनियादी मांगों को उठाते हुए इन्हें तत्काल हल करने की मांग की गई है।

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इसी तारतम्य में लौह अयस्क खान समूह राजहरा में भी हिंदुस्तान स्टील एंप्लाइज यूनियन सीटू (Hindustan Steel Employees Union CITU) के नेतृत्व में खदान श्रमिकों ने, माइंस कार्यालय के समक्ष विशाल धरना प्रदर्शन करते हुए सरकार और प्रबंधन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की तथा अपनी मांगों पर आवाज बुलंद की।

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इस अवसर पर उपस्थित ठेका श्रमिकों को संबोधित करते हुए यूनियन के अध्यक्ष पुरुषोत्तम सिमैया ने कहा कि आज देश के तमाम सरकारी एवं निजी उद्योगों में बड़े पैमाने पर ठेका मजदूरों द्वारा उत्पादन की जिम्मेदारी संभाली जा रही है,लेकिन इतने बड़े योगदान के बावजूद ठेका श्रमिकों को कानून के मुताबिक पूरा हक और अधिकार नहीं मिल पा रहा है।

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यूनियन के उपाध्यक्ष विनोद मिश्रा ने कहा कि ठेका मजदूर ठेका मजदूरों में अब बड़े पैमाने पर महिलाएं भी ठेका श्रमिक के रुप में कार्यरत है, जिन्हें मानव अधिकार द्वारा तय सुविधा भी नहीं दी जा रही हैं।

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यूनियन के कार्यकारी अध्यक्ष ज्ञानेंद्र सिंह ने कहा कि 1991 में लागू की गई वैश्वीकरण, उदारीकरण, व निजीकरण की नीति के चलते मुनाफा कमाने की होड में देश के नौजवानों को सस्ता मजदूर बनाने की प्रक्रिया में ही ठेकाकरण व संविदाकरण का जन्म हुआ है। यह पूंजीवादी सरकारों और पूंजी पतियों के नापाक गठजोड़ का नतीजा है कि देश के पढ़े-लिखे नौजवानों को ठेका और संविदा की नौकरी के लिए भी जद्दोजहद करनी पड़ती है।

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आज के धरना प्रदर्शन में भी उद्योग स्तर पर ठेका श्रमिकों के बुनियादी मांगों को लेकर हम सड़क पर उतरे हैं। आगे भी इन मांगों पर चरणबद्ध आंदोलन होगा और उन तमाम आंदोलनों में दल्ली राजहरा के हिंदुस्तान स्टील एंप्लाइज यूनियन सीटू (Hindustan Steel Employees Union CITU) मजदूरों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर हर संघर्ष में पूरी हिस्सेदारी करेगा।

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15 सूत्रीय मांग पत्र प्रबंधन को सौंपा गया, जिसमें 26000 न्यूनतम वेतन, समान काम के लिए समान वेतन, स्थाई प्रवृत्ति के कामों में लगे ठेका श्रमिकों को नियमित करने, 180 नाइट शिफ्ट एलाउंस, महिलाओं को मातृत्व अवकाश, कम दर पर ठेका लेने पर प्रतिबंध लगाने, एवं महीने की 10 तारीख को वेतन भुगतान सुनिश्चित करने जैसी महत्वपूर्ण मांगे शामिल है।

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प्रदर्शन के दौरान डायरेक्टर इंचार्ज भिलाई इस्पात संयंत्र (Bhilai STeel Plant) को संबोधित ज्ञापन मुख्य महाप्रबंधक आईओसी राजहरा को सौंपा गया। प्रबंधन से आग्रह किया गया कि उद्योग स्तर की जो मांगे हैं उन्हें गंभीरता से लेते हुए प्रबंधन तत्काल इन पर सकारात्मक कार्रवाई सुनिश्चित करें।

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