EPS 95 पेंशनभोगी को न्यूनतम पेंशन संग जीवनसाथी की मुफ्त चिकित्सा और महंगाई भत्ते की आस, पहुंच रहे सांसदों के पास

EPS 95 pensioners: Want minimum pension, free medical treatment of spouse and dearness allowance, writing letters to MPs
EPS 95 राष्ट्रीय संघर्ष समिति (NAC) की ओर से हर जिला अध्यक्ष को मजमून तैयार करके भेज दिया गया है। सांसदों से गुहार लगाई जा रही है।
  • दो बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिल चुके हैं पेंशनभोगी।
  • हेमा मालिनी की अगुहवाई में बैठक हुई, पर रिजल्ट नहीं निकला।
  • EPS 95 राष्ट्रीय संघर्ष समिति (NAC) ने मजमून तैयार किया है।

सूचनाजी न्यूज, दिल्ली। न्यूनतम पेंशन (Minimum Pension) को 1000 रुपए से बढ़ाकर 7500 करने, महंगाई भत्ता मंजूर करने की मांग अब तेज हो चुकी है। देशभर के सांसदों को चिट्ठी लिखी जा रही है। 10 वर्षों में बढ़ी हुई महंगाई को देखते हुए कोश्यारी समिति की सिफारिशों को तत्काल लागू करने की आवाज बुलंद की जा रही है।

EPS 95 राष्ट्रीय संघर्ष समिति (EPS 95 National Struggle Committee (NAC)) (NAC)  की ओर से हर जिला अध्यक्ष को मजमून तैयार करके भेज दिया गया है। जिला कमेटी के पदाधिकारी अपना-अपना नाम लिखकर सांसदों को भेंट कर रहे हैं। पत्र में लिखा है कि EPS 95 राष्ट्रीय संघर्ष समिति (EPS 95 National Struggle Committee (NAC)) देशभर के 78 लाख पेंशनरों की अग्रणी संस्था है, जिसके देश के 27 राज्यों में पेंशनरों के कल्याण हेतु निरंतर कार्यक्रम चलते हैं।

संसदीय क्षेत्र के हम पेंशनर निवासी हैं। अवगत कराना है कि EPS 95 पेंशनरों को सार्वजनिक उपक्रमों, सहकारी एवं निजी संस्थानों में 30-35 वर्ष सेवा करने के उपरांत व पेंशन फंड में शासकीय नियमानुसार प्रति माह रु. 417/-, रु. 541/-रु. 1250/- अंशदान करने के बाद भी औसतन मात्र 1170/- मासिक पेंशन मिलती है।

इतनी अल्प पेंशन में कोई भी वृद्ध दंपति कैसे गुजारा कर सकते है? वर्ष 2013 में कोश्यारी समिति ने 3000 मासिक पेंशन एवं महंगाई भत्ता दिए जाने की सिफारिश की थी, परंतु सन 2014 में न्यूनतम पेंशन बिना महंगाई भत्ते के मात्र रुपए 1000 निर्धारित की गई।

जबकि 36 लाख से अधिक पेंशनरों को अभी भी 1000 रुपए से कम पेंशन मिलती है। वास्तविकता यह है कि अल्प पेंशन राशि व मेडिकल सुविधा के अभाव के साथ ही सम्मानपूर्वक पेंशन वृद्धि की आस लगाए प्रति दिन 200 से 250 पेंशनर्स स्वर्ग सिधार रहे हैं।

पिछले 8 वर्षों से समिति अपनी निम्नवत चार सूत्रीय मांगों के लिए विविध प्रकार के तहसील स्तर से लेकर राष्ट्रीय स्तर (दिल्ली) तक कई आंदोलन कर चुकी है।

पेंशनभोगियों की मांग के बारे में पढ़िए

1. न्यूनतम पेंशन को 1000 से बढ़ाकर 7500+महंगाई भत्ता मंजूर किया जाएं। यह उचित मांग कोश्यारी समिति राज्यसभा पिटीशन 147 की सिफारिश के अनुसार 10 वर्षों में बढ़ी हुई महंगाई को देखते हुए की गई है।

2. EPS 95 पेंशनरों और उनके जीवनसाथी को मुफ्त चिकित्सा सुविधाएं।

3. सभी पेंशनरों को बिना किसी भेदभाव के सुप्रीम कोर्ट के निर्णय दिनांक 04.10.2016 व 04.11.2022 के अनुसार वास्तविक वेतन पर उच्च पेंशन का लाभ।

4. गैर ईपीएस पेंशनरों को 5000 मासिक पेंशन

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से दो बार मिल चुके हैं…

पिछले 8 वर्षों के दौरान समिति के राष्ट्रीय नेताओं ने हेमा मालिनी की अगुवाई में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से दो बार मुलाकात की। तत्कालीन श्रम मंत्री संतोष गंगवार व भूपेन्दर यादव एवं वर्तमान में मनसुख मांडविया व वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण से भेंट कर पेंशनरों की मांगों को मंजूर करवाने हेतु बैठकें भी हुई तथा सभी स्तरों पर आश्वासन भी मिले।

लोकसभा और राज्यसभा में आवाज उठती रही, पर…

इसके अतिरिक्त प्रत्येक मंत्री, सांसद को ज्ञापन देकर पेंशनरों की पीड़ा से अवगत कराया गया, विभिन्न दलों के सांसदों ने दोनों सदनों में यह मसला अनेकों बार संसद में उठाया। साथ ही साथ शासकीय स्तर पर अनेकों बार द्विपक्षीय एवं त्रिपक्षीय वार्ताएं हुई।

इतने प्रयासों के बाद भी कोई सार्थक परिणाम नहीं निकला, जिससे देश भर के पेंशनरों में निराशा व्याप्त है। पेंशनरों का शीघ्रता शीघ्र कल्याण हो इसके लिए केंद्र सरकार का ध्यानाकर्षक करने हेतु 10 व 11 दिसंबर को दिल्ली के रामलीला मैदान में विशाल धरना प्रदर्शन आयोजित होगा और आमरण अनशन किया जाएगा।

विशेष अनुरोध है कि मानवीय आधार पर पेंशनरों की आवाज संसद के वर्तमान सत्र में उठाकर तथा प्रधानमंत्री व श्रम मंत्री से मिलकर ठोस कार्रवाई करने का कष्ट करें, ताकि पेंशनरों को मजबूरन कोई आंदोलन न करना पड़े। हम सभी आपके आजीवन कृतज्ञ रहेंगे।