इस्पात राज्यमंत्री से अधिकारियों ने कहा-एफएसएनएल को बिकने से बचाइए, मंत्री का जवाब-मामला आगे बढ़ चुका…दिल्ली में करेंगे चर्चा
सूचनाजी न्यूज, भिलाई। मोदी सरकार के आठ साल के कार्यकाल की उपलब्धियां गिनाने के लिए इस्पात राज्यमंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते दुर्ग जिले पहुंचे। विभिन्न कार्यक्रमों में हिस्सा लिया। सर्किट हाउस में मुलाकात का दौर शुरू हुआ। स्टील एग्जीक्यूटिव फेडरेशन ऑफ इंडिया-सेफी के चेयरमैन व बीएसपी आफिसर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष एनके बंछोर एफएसएनएल के पदाधिकारियों को साथ लेकन मंत्री के सामने पेश हुए।
एफएसएनएल को बेचने के बजाय उसे सेल में मर्ज करने का प्रस्ताव रखा। साल 2018 में मर्ज करने का प्रस्ताव सदन में आया था। एफएसएनएल पिछले 42 साल से प्रॉफिट में रहा। एफएसएनएल के पास कोई स्थान नहीं है, लेकिन सेल की जमीन पर एफएसएनएल कार्य करता है। अगर, इसको बेच दिया जाएगा तो स्क्रैप माफियाओं की दखल स्टील प्लांटों में हो जाएगी। इतना सुनते ही मंत्री बोले-एफएसएनएल का मामला बहुत आगे बढ़ चुका है। इस पर एनके बंछोर ने बीपीसीएल का उदाहरण दिया। कहा-सरकार ने इसे रोक दिया है। इसी तरह एफएसएनएल पर भी फैसला लिया जा सकता है। मंत्री की तरफ से आश्वासन दिया गया दिल्ली पहुंचकर इस चर्चा की जाएगी।
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ओए-बीएसपी एवं एफएसएनएल ओए के पदाधिकारियों ने केन्द्रीय इस्पात राज्यमंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते से इस्पात क्षेत्र के सार्वजनिक उपक्रमों के रणनीतिक विलय एवं अन्य मुद्दों पर की चर्चा। फेरो स्क्रैप निगम लिमिटेड मुख्यतः सरकारी स्टील उपक्रमों जैसे सेल, आरआईएनएल एवं एनएमडीसी जैसे उपक्रमों में स्क्रैप प्रोसेसिंग का कार्य करती है। फेरो स्क्रैप निगम लिमिटेड जो कि लगातार अपने कर्मचारियों की मेहनत और लगन के बदौलत आज तक कभी भी घाटे में नहीं रही है और विगत तीन वर्षों में क्रमशः 46.02 करोड़ 32.06 करोड़ और 54.17 करोड़ का लाभ दिया है। इस बैठक में सेफी चेयरमैन व ओए अध्यक्ष नरेन्द्र कुमार बंछोर, ओए महासचिव परविन्दर सिंह, एफएसएनएल अधिकारी संघ से उपाध्यक्ष के. गिरीश तथा सदस्यगण प्रशांत साहू, छगनलाल नागवंशी उपस्थित थे।
जेपी शुक्ला समिति की जानकारी मंत्री को दी
ओए के पदाधिकारियों ने जेपी शुक्ला समिति द्वारा पूर्व में फेरो स्क्रैप निगम लिमिटेड के विभिन्न इकाइयों का साइट निरीक्षण और सुक्ष्म एवं गहन अध्ययन के उपरांत समिति की अनुशंसा के बारे में इस्पात राज्यमंत्री को अवगत कराया कि समिति ने अपनी रिपोर्ट में लिखा था कि फेरो स्क्रैप निगम लिमिटेड को सेल का सब्सिडरी कंपनी बनाया जाए। फिर सेल आरआइएनएल एवं एमएसटीसी लिमिटेड के साथ संयुक्त उद्यम बनाया जाए, जिसमे सेल मेजारिटी शेयरधारक हो।
स्क्रैप माफियाओं को घुसपैठ का मौका मिल जाएगा
केन्द्रीय इस्पात राज्यमंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते को अवगत कराया गया कि एफएसएनएल के कार्य करने से सेल एवं अन्य सार्वजनिक इस्पात उपक्रमों को हमेशा लाभ हुआ है। स्क्रैप माफियाओं को घुसपैठ का मौका नहीं मिला है। विगत चार दशकों से एफएसएनएल सेल एवं अन्य सार्वजनिक इस्पात उपक्रमों को निर्विवाद एवं निर्बाध रूप से अपनी बहुमूल्य सेवाए दे रहा है। इतने वर्षों में एफएसएनएल इस्पात संयंत्रों का आंतरिक हिस्सा बन गया है। एफएसएनएल के द्वारा सेल एवं अन्य सार्वजनिक इस्पात उपक्रमों में स्लैग एवं स्क्रैप प्रोसेसिंग के द्वारा आयरन एवं स्टील स्कैप की रिकवरी की जाती है। जिसका उपयोग सेल द्वारा अपने सयंत्रो में विभिन्न लौह उत्पाद बनाने में उपयोग किया जाता है। इन विगत समय में एफएसएनएलए अपने कार्य से सेल एवं अन्य सार्वजनिक इस्पात उपक्रमों का अभिन्न अंग बन गया है।
इस्पात क्षेत्र के अधिकारियों के लिए ये भी मांग उठी
इस बैठक में इस्पात क्षेत्र के अधिकारियों के अन्य लंबित मुद्दों पर भी सारगर्भित चर्चा हुई। जिसमें मुख्य तौर पर 11 महीने के पर्क्स का एरियर्स (26.11.2008 से 04.10.2009 तक), मेकॉन में तीसरा पे-रिविजन शीघ्र लागू करने, आरआईएनएल के अधिकारियों के पिछले वर्षों से लंबित प्रमोशन को शीघ्र चालू करना, थर्ड पे-रिविजन का 39 महीने का एरियर्स (01.01.2017 से 31.03.2020 तक), भिलाई टाउनशिप में अवैध कब्जों एवं विद्युत आपूर्ति सीएसपीडीसीएल को हस्तांतरित करने के लिए तथा इस्पात संयंत्रों के विनिवेश के स्थान पर सामरिक विलय (स्ट्रेटेजिक मर्जर) आदि विषयों पर चर्चा की।