- ग्रेडिंग, मेजर और माइनर पनिशमेंट के साथ साथ अन्य किसी तरह की शिकायत है तो कमेटी मूल्यांकन करेगी।
सूचनाजी न्यूज, भिलाई। स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड-सेल में छंटनी का नया रोडमैप तैयार किया गया है। इसको मूर्तरूप देने से पहले मंथन कर लिया गया है। सेल के हेड ऑफ एचआर की मीटिंग में ऐसा प्रस्ताव लाया गया, जो आपका तनाव बढ़ा देगा।
मानस रेटिंग का फॉर्मूला तैयार किया गया है। इसकी मानीटरिंग सीधे सेल कारपोरेट आफिस से की जाएगी, स्थानीय स्तर पर दखल नहीं हो सकेगी। विवादित और आरोपित कार्मिकों पर गाज गिरनी शुरू हो जाएगी।
सेल के डायरेक्टर पर्सनल केके सिंह समेत इंटीग्रेटेड स्टील प्लांट के हेड ऑफ एचआर की मीटिंग दो दिनों तक भिलाई निवास में हुई। यहां काफी मंथन के बाद यह फॉर्मूला तैयार किया गया है कि अब छंटनी के अलावा कोई दूसरा रास्ता नहीं है।
सेल प्रबंधन ने छंटनी (Retrenching) के लिए स्कीम बना लिया है। कार्मिकों की रेटिंग पर फोकस कर दिया गया है। बी रेटिंग पर माइनस 5, सी पर माइनस 10, मेजर पेनाल्टी पर माइनस 30, माइनर पेनाल्टी पर माइनस 20 नंबर तय कि जाएंगे। अगर, किसी को लगातार माइनस रेटिंग मिलती रही तो नौकरी जानी तय है। सबसे ज्यादा माइनस पानों को सबसे पहले कंपनी की सेवा से बाहर कर दिया जाएगा।
जैसा कि पिछलों दिनों नॉन परफॉर्मेंस के आधार पर कुछ अधिकारियों को नोटिस थमाकर कंपनी से बाहर किया जा चुका है। अब इसी कार्य को नए रूप से परोसा जा रहा है। धीरे-धीरे प्लांटवाइस चिट्ठी थमाई जाएगी और फाइनल पेमेंट कर दिया जाएगा।
इस स्कीम का गणित यह है कि ग्रेडिंग, मेजर और माइनर पनिशमेंट के साथ साथ अन्य किसी तरह की शिकायत है तो कमेटी मूल्यांकन करेगी। अगर इवेल्यूएशन में ज्यादा माइनस है तो कॉर्पोरेट भेज कर ऐसे लोग, जिनका माइनस ज्यादा है, उनको कंपनी से बाहर कर दिया जाएगा।
मैनपॉवर कम करने की दिशा में यह रास्ता निकाला गया है। इस्पात मंत्रालय का स्पष्ट आदेश है कि सेल में मैनपॉवर को आधा किया जाए। वर्तमान में कर्मचारी, अधिकारी और ठेका मजदूरों की संख्या करीब 99 हजार है। इस संख्या को साल 2030 तक 50 हजार करना है। इनमें अधिकारी और कर्मचारियों की संख्या पूरे सेल में 25 हजार से अधिक नहीं रखनी है। इसी लक्ष्य को हासिल करने के लिए महामंथन किया गया है।
















