- टीम ने अपने आविष्कार की तकनीक और डिजाइन को सुरक्षित करने के लिए SAIL की ओर से एक भारतीय पेटेंट भी सफलतापूर्वक दायर किया है।
सूचनाजी न्यूज, बोकारो। बोकारो स्टील प्लांट (Bokaro Steel Plant) के यंग मैनेजर्स (Young Managers) ने कमाल कर दिया है। बीएसएल (BSL) को 17.83 करोड़ का शुद्ध मुनाफा कराया है। बीएसएल (BSL) सीआरएम-III विभाग (CRM -3 Department) के दो युवा प्रबंधक प्रशांत कुमार सिंह (वरीय प्रबंधक) और परिचय भट्टाचार्जी (प्रबंधक) ने ऑटोमेटेड कोटिंग कंट्रोल युसिंग रिग्रेशन अप्प्रोच टुवर्ड्स एंटरप्राइज़ (एक्यूरेट 5.0) प्रणाली विकसित किया है।
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इस प्रणाली को विकसित करने के लिए इस टीम को सीआईआई (CII) (पूर्वी क्षेत्र) उत्पादकता पुरस्कारों में प्रथम पुरस्कार (First Prize) के लिए चुना गया है। एक्यूरेट 5.0 मशीन लर्निंग (Accurate 5.0 Machine Learning), आईओटी और क्लाउड कंप्यूटिंग (IoT and cloud computing) जैसी प्रौद्योगिकियों का उपयोग कर सीआरएम-III के कन्टिन्यूअस गैल्वनाइजिंग लाइनों में ज़िंक कोटिंग वजन का पूर्वानुमान करने, मॉनिटर करने और कंट्रोल करने के लिए पूर्णत: इन- हाउस डिज़ाइन की गई एक अत्याधुनिक एवं इनोवेटिव प्रणाली है।
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यह प्रणाली 30,000+ टुपल्स डेटासेट(Tuples Dataset ) के उपयोग से मल्टीवेरिएट पॉलीनोमियल रिग्रेशन एनालिसिस (Multivariate Polynomial Regression Analysis) द्वारा अनुमानित कोटिंग वजन के लिए एक समीकरण पर पहुंचने में सक्षम है। इस समीकरण को SCADA में प्रदर्शित किया जाता है जिसके आधार पर यदि आवश्यक हो तो लाइन गति, वायु दबाव, क्षैतिज स्थिति और फील्ड से लिप गैप की रियल टाइम फीडबैक के साथ मूल्यों को ऑपरेटर संशोधित कर सकता है।
इस प्रणाली में रिग्रेशन को-इफिशिएंट (Regression co-efficient) हर महीने ट्यून किए जाते हैं और वर्तमान में यह +1 जीएसएम (99% से अधिक सटीकता) पर काम कर रहा है। इस प्रणाली को बीएसएल (BSL) के युवा प्रबन्धकों ने बिल्कुल नए सिरे से विकसित किया है और इसके लिए किसी विशेष हार्डवेयर की आवश्यकता भी नहीं पड़ी, यानी यह शून्य-लागत वाली परियोजना रही।
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इस प्रणाली को मौजूदा स्वचालन प्रणालियों के साथ एकीकृत किया गया है जिससे ज़िंक की खपत में कमी आई है और उत्पाद की गुणवत्ता भी बेहतर हुई है। कुल मिलाकर, एक्यूरेट 5.0 प्रणाली गैल्वेनाइज्ड उत्पादों में ज़िंक कोटिंग (Zink Coating) वजन का सटीक पूर्वानुमान, मॉनिटरिंग और कंट्रोल (Monitoring and Control ) के लिए एक लागत प्रभावी और कुशल समाधान है।
इस परियोजना से संयंत्र को 17.83 करोड़ रुपये की वार्षिक आवर्ती लागत बचत होगी. परियोजना को विकसित करने और कार्यान्वित करने वाली टीम, श्री प्रशांत कुमार सिंह और श्री परिचय भट्टाचार्य ने हाल ही में सीआईआई( पूर्वी क्षेत्र) उत्पादकता पुरस्कारों में अपना समाधान प्रदर्शित किया और सेल, बोकारो स्टील प्लांट के लिए प्रथम पुरस्कार जीता। टीम ने अपने आविष्कार की तकनीक और डिजाइन को सुरक्षित करने के लिए SAIL की ओर से एक भारतीय पेटेंट भी सफलतापूर्वक दायर किया है।
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