विधानसभा चुनाव से पूर्व संयंत्र में आरएफआईडी लगाने की घोषणा की गई और उसे इस ढंग से प्रचारित किया गया कि केंद्र की वर्तमान सरकार के आदेश से ऐसी प्रक्रिया करवा रही है। जिस कारण कर्मचारियों में बहुत गलत संदेश गया।
सूचनाजी न्यूज, भिलाई। स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड-सेल में बायोमेट्रिक को लेकर बवाल मचा हुआ है। सेल चेयरमैन को पत्र भेजकर इस पर विराम लगाने की मांग की गई है। बीएसपी वर्कर्स यूनियन ने बीएसपी आइआर विभाग के जीएम जेएन ठाकुर को पत्र सौंपा है। मांग की गई है कि संयंत्र की किसी भी प्रक्रिया को केंद्र सरकार के नाम पर न हो गलत प्रचार और पहले कर्मचारियों की मूलभूत समस्या का हो समाधान।
यूनियन अध्यक्ष उज्ज्वल दत्ता का कहना है कि छत्तीसगढ़ में अभी अभी विधानसभा चुनाव संपन्न हुआ है और कुछ माह में लोकसभा चुनाव भी होना है। चूंकि छत्तीसगढ़ में भिलाई इस्पात संयंत्र मुख्य उद्योग है, जिसमे सबसे ज्यादा कर्मचारी कार्यरत है।
इसलिए चुनाव पूर्व प्रबंधन का कोई भी ऐसा निर्णय जो संयंत्र के उत्पादन से संबंधित न हो और मात्र कर्मचारियों के नियमित दिनचर्या को प्रभावित करने के लिए लिया जाए और ऐसे निर्णय को केंद्र की वर्तमान सरकार के निर्णय के रूप में प्रचारित किया जाए तो ऐसी प्रक्रिया निश्चित ही आने वाले चुनाव को प्रभावित करती है।
अभी संपन्न हुए विधानसभा चुनाव से पूर्व संयंत्र में आरएफआईडी लगाने की घोषणा की गई और उसे इस ढंग से प्रचारित किया गया कि केंद्र की वर्तमान सरकार के आदेश से ऐसी प्रक्रिया करवा रही है। जिस कारण कर्मचारियों में बहुत गलत संदेश गया।
और दुर्ग लोकसभा में भारतीय जनता पार्टी सभी सीटों में प्रचंड बहुमत से जीती परंतु भिलाई विधानसभा न जीत सकी। और इसका असर सांसद जी के चुनाव क्षेत्र में भी रहा। और वहा का रिजल्ट भी प्रतिकूल रहा।
कुछ ही माह में लोकसभा चुनाव होना है। इसके पूर्व पुनः ऐसा ही माहौल बनाया जा रहा है कि केंद्र सरकार के दवाब में आरएफआईडी लगाया जा रहा है, जो पूर्णतः गलत है।
कुछ संगठन और राजनैतिक पार्टी जो केंद्र की लोकप्रिय सरकार के विरुद्ध है, वो इन अवसरों का लाभ लेकर लगातार सरकार विरोधी प्रचार प्रिंट या सोशल मीडिया के माध्यम से कर रहे हैं।
सेल चेयरमैन से अनुरोध किया गया है कि इस प्रकार संयंत्र के किसी भी निर्णय को केंद्र की लोकप्रिय सरकार से जोड़ कर प्रस्तुत करने की क्या मंशा है, इसकी जांच किया जाए।
यूनियन अनुरोध करती है कि कर्मचारी वर्तमान समय में अपनी मूलभूत समस्या जैसे 39 माह के एरियाज, पूर्ण वेज रीविजन, नाइट शिफ्ट एलाउंस, चिकत्सा सुविधा, आवास सुभिधा, संयंत्र में कैंटीन, टॉयलेट, रेस्ट रूम सुविधा से जूझ रहे हैं। किसी भी समस्या के समाधान हेतु न चर्चा किया जा रहा है। न ही इस दिशा में किसी प्रकार के सकारात्मक पहल हो रही है। वरन संयंत्र में चोरिया लगातार बढ़ रही, जिसे रोका नहीं जा रहा है। सुरक्षा समिति की कोई बैठक महीनों से नहीं की गई।
इन कारणों से कर्मचारियों में बहुत ज्यादा आक्रोश
बीएसपी वर्कर्स यूनियन का कहना है कि प्रबंधन पहले कर्मियों के मूलभूत समस्या पर सकारात्मक पहल करे, जिससे कर्मचारियों में उत्साहवर्धन हो। मूलभूत समस्या को दूर करने के पहले इस प्रकार से केंद्र सरकार की नीति के नाम की बात कर केंद्र की लोकप्रिय सरकार को कर्मियों के बीच कटघरे में रखते हुए दवाब पूर्ण ढंग से आरएफआईडी/बायोमेट्रिक जैसे किसी नई प्रक्रिया को कर्मचारियों पर न थोपा जाए।
भिलाई इस्पात संयंत्र के कर्मियों ने हमेशा सेल में अपनी अलग पहचान बनाई और सेल को ऊंचाई की शिखर में पहुंचाया है। इसलिए ऐसे संयंत्र में औद्योगिक शांति की दिशा में प्रबंधन भी पहल करे।