- जिन खिलाड़ियों को 2022 की इंज्युरी का हवाला देकर टीम से बाहर किया गया है। वे खिलाड़ी 2023 में नेशनल टूर्नामेंट में खेले और मेडल तक जीतकर आए।
सूचनाजी न्यूज, भिलाई। सीआइएसएफ हैंडबॉल टीम (CISF Handball Team) का विवाद हाईकोर्ट तक पहुंच चुका है। भारत सरकार, डीजी सीआइएसएफ, डीआइजी सीआइएसएफ भिलाई स्टील प्लांट-बीएसपी (Bhilai STeel Plant), कोच कुणाल को पार्टी बनाया गया है। कोच पर गंभीर आरोप लगाए हैं।
ये खबर भी पढ़ें: बिलासपुर-नागपुर वंदे भारत एक्सप्रेस का दूसरा बर्थ-डे
लगातार कोच पर शिकायत करने की वजह से कई खिलाड़ियों को ही टीम से बाहर करने का आरोप लगाया गया है। इसके चलते भारतीय टीम का प्रतिनिधित्व करने वाले खिलाड़ी भेदभाव का शिकार हो गए हैं। जबकि टीम से बाहर करने का आधारिक आदेश जारी नही हुआ है। खिलाड़ियों को सूचना कहीं से मिली और वे कोर्ट तक पहुंच गए।
ये सारे आरोप खिलाड़ियों की तरफ से लगाए गए हैं। सीआइएसएफ भिलाई स्टील प्लांट (Bhilai Steel Plant) के कमांडेंट, डीआइजी स्तर पर जब कोई कार्रवाई नहीं हुई तो थक-हारकर खिलाड़ियों को हाईकोर्ट बिलासपुर जाना पड़ा। अब केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल-सीआइएसएफ की प्रतिष्ठा दांव पर लग गई है।
ये खबर भी पढ़ें: भिलाई में ‘फ्लाइट ऑफ स्टील स्कल्पचर’ लगभग तैयार, सिविक सेंटर में आप भी देखने आइएगा
खिलाड़ियों ने बताया कि जिनको 2022 की इंज्युरी का हवाला देकर टीम से बाहर किया गया है। वे खिलाड़ी 2023 में नेशनल टूर्नामेंट में खेले और मेडल तक जीतकर आए। बावजूद, आपसी रंजिश का शिकार बना दिया गया है। सीआइएसएफ बीएसपी की टीम से बाहर होने का नुकसान यह है कि छत्तीसगढ़ और इंडिया टीम से भी ये बाहर हो गए हैं।
छत्तीसगढ़ हैंडबॉल एसोसिएशन का ये पक्ष
सीनियर नेशनल हैंडबॉल चैम्पियनशिप केरल में 26 से 29 दिसंबर तक होना है। सीजी की टीम बननी है। छत्तीसगढ़ हैंडबॉल एसोसिएशन के संस्थापक सदस्य बशीर अहमद ने बताया कि कोच ने कुछ खिलाड़ियों को शामिल नहीं किया है। इसको लेकर विवाद चल रहा है। शिकायतों का दौर जारी है।
ये खबर भी पढ़ें: क्रिसमस 2024: बिलासपुर और एलटीटी के बीच क्रिसमस फेस्टिवल स्पेशल ट्रेन, पढ़िए शेड्यूल
कोच ने कुछ और ही बताया
वहीं, इस पूरे प्रकरण पर कोच कुणाल से सूचनाजी.कॉम ने बातचीत की और उनका पक्ष भी लिया। कोच ने इस तरह का कोई भी विवाद होने से इंकार किया। उन्होंने कहा-फेडरेशन स्तर पर विवाद चल रहा है। हम तो डिपार्टमेंट वाले हैं।
फोर्स में रहकर कोई विवाद नहीं कर सकते। खिलाड़ियों को टीम से बाहर करने पर बोले-रिव्यू ट्रायल पर हेडक्वाटर से बोर्ड बनता है। डीआइजी स्तर के लोग होते हैं। अकेले मेरे फैसले से कुछ नहीं होता है।
अगर इंज्युरी पार्ट है तो उन खिलाड़ियों को कैसे टीम में रखा जा सकता है। कल कोई रिजल्ट खराब होगा तो मुझसे ही पूछा जाएगा। वैसे, डीआइजी स्तर पर मामला है। कुछ इंज्युरी वाले खिलाड़ी एक दिन वर्क आउट करते हैं, चार दिन आराम करते हैं।
ये खबर भी पढ़ें: Stock Market Updates: टॉप लूज़र में शामिल है Adani Enterprises और Adani Ports
खिलाड़ियों का ये गंभीर आरोप
-हाईकोर्ट जाने वाले खिलाड़ियों ने आरोप लगाया है कि कोच कुणाल लंबे समय से भिलाई में डटे हैं।
-जब कोई अच्छा खिलाड़ी उभरता दिखता है। कोच बनने की राह पर होता है तो उसे बाहर कर दिया जाता है।
-विवाद की शुरुआत इंडिया टीम के कैप्टन रहे फिरोज खान से हुई थी। उन्होंने कोच का कोर्स करने के लिए अनुमति मांगा था, उन्हें हटा दिया गया था।
ये खबर भी पढ़ें: बीएसपी के कला मंदिर में छत्तीसगढ़ के गायकों ने गीतों से शमां बांधी
-अगस्त 2023 में पॉलिसी के अनुसार कोच का 5 साल का कार्यकाल तय किया गया है। बावजूद कोच की सेहत पर कोई असर नहीं पड़ा। लंबे समय से यहां बने हुए हैं।
-जिन खिलाड़ियों को बाहर किया गया है, वे CISF के साथ सीजी और भारतीय टीम का भी प्रतिनिधि करते हैं। कई मेडल तक जीते।
-जिन खिलाड़ियों को टीम से बाहर किया गया है, उनमें 2022 में इंडिया टीम के कैप्टन रहे, भी शामिल हैं।
फिटनेस सर्टिफिकेट के बाद भी टीम से बाहर
सवाल ये उठाया जा रहा है कि जो खिलाड़ी इंज्युरी के बाद टीम का प्रतिनिधित्व करते हुए राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता जीत कर आए। उन्हें कैसे बाहर किया जा सकता है।
दिल्ली के सफदरगंज हॉस्पिटल से फिटनेस सर्टिफिकेट है। दुर्ग हॉस्पिटल से सर्टिफिकेट मिला हुआ है। खास बात यह है कि जिस कोच का ट्रायल होना है, वह खुद बोर्ड मेंबर रहे, इस पर भी सवाल उठा।
बोर्ड मेंबर पर भी सवाल, जांच की मांग
टीम के कई खिलाड़ियों का कहना है कि बोर्ड के नाम पर मनमानी की जाती है। बोर्ड के सदस्य नॉमिनेट होते हैं और कोच की बात मानते हैं। यही वजह है कि बोर्ड के फैसले पर कोई अपील नहीं होती है। यह भी दावा किया जा रहा है कि बोर्ड के सदस्य खेल की बारीकी से भी वाकिफ नहीं होते हैं। कोच ने जिसका नाम सामने रखा, उसी पर मुहर लगा देते हैं।