HLL कर्मी के सड़क दुर्घटना के मुद्दे पर सीटू दिया प्रबंधन एवं डिप्टी डायरेक्टर स्वास्थ्य एवं चिकित्सा को पत्र।
सूचनाजी न्यूज, भिलाई। ड्यूटी आते समय HLL इंटर्न की सड़क दुघर्टना होने पर सेक्टर 9 अस्पताल में इलाज से वंचित किए जाने एवं सड़क दुर्घटना इंज्यूरी फार्म ना भरने का मामला सामने आया है। इसकी शिकायत सीटू ने कार्यपालक निदेशक (चिकित्सा एवं स्वास्थ्य सेवाएं) तथा डिप्टी डायरेक्टर स्वास्थ्य एवं सुरक्षा को पत्र देकर की है।
इस विषय पर संज्ञान लेने की मांग की गई है। सीटू उपाध्यक्ष संतोष कुमार प्रुष्टी ने कहा, जिस पर बीएसपी प्रबंधन एवं तथा डिप्टी डायरेक्टर ने उचित कार्यवाही करने का आश्वासन दिया। सीटू का मानना है कि मुख्य नियोक्त होने के नाते यह सब देखना बीएसपी की जिम्मेदारी हैं।
यह थी घटना
विदित हो कि एक एचएलएल इंटर्न का 6 जून 2025 को सुबह 8 बजे सेक्टर 9 अस्पताल ड्यूटी आने के दौरान सड़क दुघर्टना हो गया, जिसमे वो गम्भीर रूप से घायल हो गई। घायल इंटर्न को जब सेक्टर 9 अस्पताल कैज्युल्टी में लाया गया तो उनका इंज्यूरी फार्म भरना तो दूर उल्टा वहां उपस्थित डाक्टर ने परामर्श शुल्क 680 रूपए जमा कर पर्ची कटवाने को कहा।
साथ ही साथ ऑब्जेर्वेशन शुल्क 2000 भी जमा करने को कहा, तभी सेक्टर 9 अस्पताल के सहकर्मियों ने बताया कि इनको रूपए जमा करने की आवश्यकता नहीं है। कम्पनी का अनुबंध है। इस पर डाक्टर ने इलाज करते हुए सिर में सात टांके लगा कर डिस्चार्ज करते हुए ईएसआई अस्पताल भेज दिए।
इससे यह स्पष्ट होता है कि सेक्टर 9 अस्पताल के डाक्टरों को एचएलएल इंटर्न के साथ अनुबंध की शर्तो की जानकारी तक नहीं है। इंटर्न को ईएसआई अस्पताल से शंकराचार्य मेडिकल कॉलेज जुनवानी भेज दिया गया। जहां मरीज का आयुष्मान कार्ड से इलाज किया गया।
दुर्घटना में पीठ की हड्डी फ्रैक्चर
सेक्टर 9 अस्पताल के डाक्टरों से इंटर्न द्वारा पीठ में चोट लगने की बात कहने पर डाक्टरों नें कहा कि पीठ में मसल पेन है, ठीक हो जाएगा। परंतु बाहर एक्स रे करवानें से ज्ञात हुआ कि पीठ की हड्डी फ्रैक्चर हुआ है। इससे ज्ञात होता है कि अस्पताल में मरीजों के इलाज में लापरवाही बढ़ गई है। इंटर्न मरीज को दूसरे अस्पताल में इलाज करने भेजना एच एल एल अनुबंध का उल्लंघन है एवं मानवीय दृष्टिकोण से उचित नहीं है।
अपॉइंटमेंट लेटर के टर्म्स में दर्ज है स्वयं के इलाज के बारे में
हिंदुस्तान लेटेक्स लिमिटेड नामक संस्था का पूरा नाम एचएलएल लाइफकेयर लिमिटेड हैं, जो भारत सरकार के स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय के तहत एक मिनी रत्न सार्वजनिक क्षेत्र का उद्यम है। इस कंपनी नें सेक्टर 9 अस्पताल में स्वास्थ्य कर्मियों को देने के संबंध में ठेका लिया है एवं टीएंडएम सर्विस कंसलटिंग प्राइवेट लिमिटेड के माध्यम से स्वास्थ्य कर्मियों को सप्लाई दिया है।
इसीलिए एच एल एल के वास्ते टी एंड एम सर्विस कंसलटिंग प्राइवेट लिमिटेड नें कर्मियों को अपॉइंटमेंट लेटर दिया जिसमें टर्म्स एंड कंडीशन के तहत बिंदु क्रमांक 12 में कहा गया कि कर्मी स्वयं का इलाज सेल के अस्पताल में करवा सकेंगे। किंतु रेफर नहीं किया जाएगा।
बीएसपी प्रबंधन ने कहा HLL के साथ नहीं है उनके कर्मियों के इलाज को लेकर ऐसा कोई अनुबंध
एचएलएल के वास्ते टी एंड एम सर्विस कंसल्टिंग प्राइवेट लिमिटेड के द्वारा लिखे गए टर्म्स एंड कंडीशन पर अस्पताल प्रबंधन के महाप्रबंधक प्रशासक ने कहा कि बीएसपी प्रबंधन ने अनुबंध में ऐसी कोई शर्त नहीं लिखा है, जिसमें सप्लाई किए गए स्वास्थ्य कर्मियों का मुफ्त इलाज हो, बल्कि इस बात को स्पष्ट रूप से लिखा गया है कि सप्लाई किए गए स्वास्थ्य कर्मी के ओपीडी में इलाज होने पर उसका पैसा एच एल एल कंपनी द्वारा दिया जाना है। साथ में यह भी स्पष्ट कर दिया था कि प्रत्येक कर्मी का 15 लाख रुपए का दुर्घटना बीमा करवाना है एवं ईएसआई का पैसा जमा करवाना है।