मोदीजी भिलाई स्टील प्लांट के मकानों से बाहर कराइए शासकीय अधिकारियों-नेताओं को, BSP OA के लेटर पर PMO एक्टिव

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भिलाई टाउनशिप के मकानों के आवंटन हेतु राज्य शासन के अधिकारियों एवं कर्मचारियों की होड़ सी लगी हुई है।

सूचनाजी न्यूज, भिलाई। सेल की सिरमौर इकाई भिलाई इस्पात संयंत्र स्थापना के बाद से ही अपनी टाउनशिप के लिए अलग पहचान रखती है। छत्तीसगढ़ की आर्थिक एवं शैक्षणिक उन्नति में भी भिलाई इस्पात संयंत्र का अहम योगदान रहा है। लेकिन, अब इस पर ग्रहण लगा दिया गया है। इसलिए बीएसपी आफिसर्स एसोसिएशन ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर थर्ड पार्टी आवंटन को तत्काल निरस्त करने की मांग की थी, जिस पर पीएमओ एक्टिव हो गया है।

स्टील एग्जीक्यूटिव फेडरेशन ऑफ इंडिया-सेफी के चेयरमैन व बीएसपी आफिसर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष नरेंद्र कुमार बंछोर ने मुद्दा फिर उठाया है। वर्ष 2000 में छत्तीसगढ़ राज्य निर्माण के बाद रायपुर राजधानी बनने से भिलाई टाउनशिप के मकानों के आवंटन हेतु राज्य शासन के अधिकारियों एवं कर्मचारियों की होड़ सी लगी हुई है। बीएसपी के बहुत से बड़े मकानों में मुख्यतः छत्तीसगढ़ शासन के उच्च अधिकारी काबिज हैं।

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इनमें ऐसे छत्तीसगढ़ सरकार के अधिकारी शामिल हैं, जो वर्तमान में दुर्ग जिले में पदस्थ नहीं है, उनका अन्यंत्र स्थानांतरण हो चुका है। दुखद स्थिति यह है कि छत्तीसगढ़ शासन के कई अधिकारी अब सेवानिवृत्त हो चुके हैं, उसके बाद भी वे बीएसपी के बड़े मकानों पर अपना कब्जा जमाए बैठे हैं।

रसूख के आगे सेल व बीएसपी प्रबंधन बेबस

इन अधिकारियों के रसूख के आगे सेल व बीएसपी प्रबंधन बेबस हो चुका है। इस प्रकार के कब्जे के चलते सेल अधिकारियों को अपने ग्रेड के अनुरूप बेहतर आवास प्राप्त नहीं हो पा रहे हैं। अतः इन कब्जों को शीघ्रातिशीघ्र खाली करवाने हेतु उच्च स्तरीय पहल की आवश्यकता है। जिससे बीएसपी अधिकारियों को बेहतर आवास प्राप्त हो सके।

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कार्मिकों को बेहतर मकान का दें किराया भत्ता

उच्च ग्रेड के मकानों को अगर खाली कराना संभव नहीं है, तो कार्मिकों को बेहतर मकान हेतु मकान किराया भत्ता प्रदान किया जाए। इस संदर्भ में विदित हो कि सेल की एचआरए को लेकर कोई एक समान नीति नहीं है।

सेल की एकरूप एचआरए पॉलिसी न होने के कारण कार्मिकों में एचआरए विसंगतियों को लेकर असंतोष व्याप्त है। भिलाई, बोकारो, दुर्गापुर आदि इस्पात संयंत्रों में कंपनी के कई बड़े मकानों को थर्ड पार्टी को आवंटित किया गया है। इन समस्याओं के चलते कार्मिकों को पात्र मकान उपलब्ध नहीं हो पा रहे हैं एवं कई कार्मिक टाउनशिप से बाहर रहने पर मजबूर हैं।

इस्पात मंत्री एचडी कुमारस्वामी से भी हो चुकी मांग

ओए-बीएसपी की टीम ने 17 सितम्बर 2024 को इस्पात मंत्री एचडी कुमारस्वामी से उनके भिलाई प्रवास के समय इस विषय पर लम्बी चर्चा की थी। इस चर्चा में सेल चेयरमेन व डायरेक्टर इंचार्ज, बीएसपी भी उपस्थित थे। फरवरी 2025 में सेफी टीम ने इस्पात सचिव से भी इस मुद्दे का समाधान करने का आग्रह किया था।

प्रधानमंत्री को मई भी भेज चुके पत्र

इसी कड़ी में सेफी ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से 07.05.2025 को पत्र के माध्यम से को अनुरोध किया था कि सेल के भिलाई इस्पात संयंत्र एवं अन्य संयंत्रों के उच्च ग्रेड के मकानों को थर्ड पार्टी आबंटन निरस्त करवाने हेतु हस्ताक्षेप करने का अनुरोध किया था।

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कार्मिकों को पात्रता अनुसार उच्च ग्रेड के मकान उपलब्ध नहीं होने की स्थिति में उन्हें मकान किराया भत्ता चालू करवाने हेतु हस्तक्षेप करने हेतु अनुरोध किया था। इस्पात मंत्रालय द्वारा सेफी को सूचित किया गया कि इस शिकायत को सुझाव के रूप में स्वीकार किया गया है। इस्पात मंत्रालय के संयुक्त सचिव दया निधान पाण्डेय ने यह पत्र सेफी चेयरमेन नरेन्द्र कुमार बंछोर को प्रेषित किया है।

सेक्टर-05, 09, 10, 32 बंगले पर शासकीय अधिकारियों, नेताओं का कब्जा

सेफी अध्यक्ष नरेन्द्र कुमार बंछोर ने बताया कि बीएसपी टाउनशिप के सेक्टर-05, 09, 10 एवं 32 बंगला में अत्याधिक संख्या में बड़े मकानों में शासकीय अधिकारियों एवं पूर्व जनप्रतिनिधियों का कब्जा है। बीएसपी के अधिकारी छोटे मकानों में रहने के लिए बाध्य हैं।

सेफी ने मांग रखी है कि बीएसपी के अधिकारियों को या तो मकान भत्ता दिया जाए या उनकी वरियता के अनुरूप मकान प्रदान किया जाए। जिसके लिए लंबे समय से थर्ड पार्टी अलाटमेंट के द्वारा दिए बड़े मकानों के आबंटन का पुनरावलोकन किया जाना चाहिए और सभी सेवानिवृत्त एवं स्थानांतरित अधिकारियों, जनप्रतिनिधियों का आबंटन रद्द किया जाना चाहिए।

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टैक्स दाताओं के धन से बनी सम्पत्ति पर काट रहे मौज

भिलाई टाउनशिप में काबिज अनेक राजनेताओं और अधिकारियों ने मकानों का विस्तार कुछ इस प्रकार से किया है कि वे जीवन पर्यंत उस पर काबिज रहेंगे और बाद में उनका परिवार। यह मकान राष्ट्रीय सम्पत्ति है और ये टैक्स दाताओं के धन से बनी सम्पत्ति है।

प्रभावशाली व्यक्तियों के द्वारा राष्ट्रीय सम्पत्ति और संसाधनों के मनमाने दुरूपयोग को रोकना राज्य शासन और केन्द्र शासन की जिम्मेदारी है। इस संदर्भ में प्रधानमंत्री कार्यालय से पत्राचार मकानों की सूची के साथ किया गया है।

एनके बंछोर ने कहा कि सेफी व ओए-बीएसपी भिलाई को पुनः स्वच्छ, सुरक्षित और सुंदर बनाने हेतु अपने प्रयासों को तेज करेगा तथा भिलाई नगर को अराजक तत्वों से बचाने हेतु हर संभव प्रयास करेगा।

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