सूचनाजी न्यूज, बोकारो। स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड (Steel Authority of India Limited) के कर्मचारियों के स्टाइपेंड में गड़बड़ी का आरोप लगाया जा रहा है। यह गंभीर आरोप बोकारो के कर्मचारियों ने प्रबंधन पर लगाया है। इसकी जानकारी खुद एक कर्मचारी ने सूचनाजी.कॉम को दी है।
कर्मचारी का आरोप है कि दिसंबर 2021 में बतौर ओसीटी डिप्लोमा इंजीनियर के रूप में सेल की सेवा से जुड़े। दो साल की ट्रेनिंग पीरियड चल रही है। पहले साल 16100 रुपए स्टाइपेंड दिया जाता है, जो कर्मचारियों को प्राप्त हुआ। वहीं, दूसरे साल 18 हजार से अधिक स्टाइपेंड देने का प्रावधान है, लेकिन 16100 रुपए ही दिया जा रहा है। एक साल की अवधि बीतने के बाद भी राशि नहीं बढ़ाई गई है। दिसंबर 2022 से ही दूसरे साल की अवधि शुरू हो चुकी है। तीन माह बीतने के बाद भी कोई लाभ नहीं मिल रहा है।
इस पूरे मामले पर बोकारो इस्पात डिप्लोमाधारी कामगार यूनियन के अध्यक्ष संदीप कुमार ने Suchnaji.com ने बताया कि पर्सनल डिपार्टमेंट के साथ कर्मचारियों की मीटिंग हुई है। प्रबंधन ने स्पष्ट कर दिया है कि मार्च के पे-स्लिप में एरियर और छुट्टी आदि को अपडेट कर दिया जाएगा, जिससे कर्मचारियों को पूरी रकम मिलनी शुरू हो जाएगी। तकनीकी गड़बड़ी की वजह से ऐसा हुआ है, जिसे सुधार लिया गया है।
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नाराज कर्मचारियों का कहना है कि यह गंभीर विषय है। डिप्लोमा इंजीनियर्स एसोसिएशन और फेडरेशन को इस पर ध्यान देना चाहिए। एसोसिएशन से नाराज कुछ कर्मचारियों ने यहां तक बोल दिया कि जो खुद को मजबूत और डिप्लोमा इंजीनियर के हितैषी बताते हैं, उनके लिए क्या यह समस्या नहीं है। सिर्फ मछली-भात खिलाने तक ही पूरा मामला है।
नाराज डिप्लोमा इंजीनियर ने आरोप लगाया कि सेल की पॉलिसी में ही भेदभाव स्पष्ट रूप से दिखाई देता है। इसी सेल में जब एमएमटी आते हैं तो उनका बेसिक उसी ग्रेड से दिया जाता है। वहीं, ओसीटी का बेसिक 28 हजार है, तो मानदेय 16 हजार देते हैं। अधिकारियों को डीए-बेसिक तक दिया जा रहा है।