ईपीएस 95 पेंशन की ताजा खबर: 78 लाख पेंशनर्स और परिवार का दर्द घोषणा पत्र के लायक नहीं? कांग्रेस-बीजेपी पर सवाल

  • एनएसी टीम पिछले कुछ वर्षों से पूरी तरह से सत्ताधारी पार्टी पर उनके झूठे आश्वासनों पर भरोसा करती रही और बाद में धोखा खा गई।

सूचनाजी न्यूज, छत्तीसगढ़। लोकसभा चुनाव (Loksabha Election) में जहां सियासी पार्टियां एक-एक वोट का गणित बैठा रही हैं। वहीं, ईपीएस 95 पेंशन (EPS 95 Pension) को लेकर पेंशनभोगी पार्टियों का हिसाब-किताब बिगाड़ने का मन बना रहे हैं। कांग्रेस और भाजपा के घोषणा पत्र में पेंशनर्स को लेकर कोई बड़ी घोषणा नहीं होने से खासा मायूसी है। पेंशनर्स की जुबां पर अब यह भी आ गया है कि दोनों प्रमुख पार्टियों की नजर में 78 लाख पेंशनर्स और उनके परिवार का दर्द घोषणा पत्र के लायक नहीं शायद…।

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पेंशनर्स वेंकटेश्वरन रामसुब्रमण्यम ने फेसबुक पर लिखा-हमारी एनएसी टीम के अध्यक्ष ने आगामी लोकसभा चुनावों के लिए उम्मीदवार को सही ढंग से चुनने के लिए एक वीडियो बनाया। मैं यह नहीं समझ पा रहा हूं कि जब राजनीतिक दल हमारा समर्थन करने आए हैं, तो हमारे प्रेसिडेंट रुचि क्यों दिखा रहे हैं और हमें वोट देने के लिए कह रहे हैं।

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इसका कोई फायदा नहीं है। विशेष रूप से वरिष्ठ सेवानिवृत्त कर्मचारी (senior retired employee) दोनों जरूरतों को पूरा करने के लिए संघर्ष कर रहे हैं और दुनिया छोड़ रहे हैं।

एक और बात, हमारा एनएसी संगठन सत्तारूढ़ सरकार पर दबाव बनाने के लिए अन्य राजनीतिक दिग्गजों से क्यों नहीं मिला?

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पेंशनर्स वेंकटेश्वरन रामसुब्रमण्यम ने कहा-मैं तेलंगाना हूं, कैसे टीआरएस पार्टी (TRS Party) ने अलग राज्य की लड़ाई में समझदारी से संयुक्त कार्रवाई समिति आदि बनाकर राजनीतिक दलों से प्रतिबद्धताएं लीं और राज्य का दर्जा हासिल किया।

एनएसी टीम पिछले कुछ वर्षों से पूरी तरह से सत्ताधारी पार्टी पर उनके झूठे आश्वासनों पर भरोसा करती रही और बाद में धोखा खा गई।

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