- ईएल इंकैशमेंट माड्यूल BAMS में खुला हुआ है। कर्मचारी और अधिकारी आवेदन कर सकते हैं।
सूचनाजी न्यूज, भिलाई। स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड-सेल (Steel Authority of India Limited-SAIL) के कर्मचारी और अधिकारी ध्यान दें। वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए ईएल इंकैशमेंट के लिए आवेदन नहीं किया है तो कर दीजिए। ईएल इंकैशमेंट माड्यूल BAMS में खुला हुआ है। कर्मचारी और अधिकारी आवेदन कर सकते हैं। 20 फरवरी तक आवेदन करते हैं तो इसी माह की सैलरी के साथ राशि मिल जाएगी। अन्यथा अगले महीने की सैलरी से इसका लाभ मिलेगा।
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इधर-ईएल नकदीकरण गणना सुधार की हो रही मांग
अर्जित अवकाश नकदीकरण की वर्तमान गणना प्रणाली पर सवाल उठाए जा रहे हैं। वर्तमान गणना प्रणाली के अनुसार अर्जित अवकाश नगदीकरण हेतु अवकाश वेतन की गणना के लिए मासिक वेतन (मूल वेतन +महंगाई भत्ता) को 30 दिन का महीना मानकर 30 से विभाजित किया जाता है, जबकि 26 कार्य दिवस का महीना मानकर मासिक वेतन को 26 से विभाजित कर प्रतिदिन का वेतन निकालना चाहिए।
कर्मी जितने दिन का अर्जित अवकाश का नगदीकरण करवा रहे हैं, उससे निकाले गए प्रतिदिन का वेतन को गुणा करके प्राप्त राशि का भुगतान करना चाहिए।
26 दिन का महीना मानकर होती है गणना
सीटू के महासचिव जेपी त्रिवेदी ने कहा कि अर्जित अवकाश गणना के मामले में 26 दिन का माह मानते हुए, मासिक वेतन (मूल वेतन +महंगाई भत्ता) को 26 दिनों से विभाजित कर एक दिन का वेतन की गणना करना उचित है। क्योंकि ग्रेच्युटी के मामले में भी 26 कार्य दिवस का महीना मानकर 1 दिन के वेतन की गणना किया जाता है।
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एक महीने के अर्जित अवकाश नगदीकरण में हो रहा है 6000 से 20000 का नुकसान
सीटू के उपाध्यक्ष डीवीएस रेड्डी ने कहा कि एक माह के मासिक वेतन को मूल वेतन एवं महंगाई भत्ता अर्जित अवकाश नगदीकरण के रूप में लेने के लिए 30 दिन अर्जित अवकाश को बेचना पड़ता था, जबकि 26 अर्जित अवकाश लेने पर एक मासिक वेतन (एक माह का मूल वेतन एवं महंगाई भत्ता) प्राप्त हो सकता है।
अर्थात हर बार नगदीकरण के समय एक मासिक वेतन लेने हेतु चार अतिरिक्त अर्जित अवकाश देना पड़ रहा है, जिससे कर्मियों को S1 ग्रेड से लेकर S11 ग्रेड तक 6000 से 20000 तक का नुकसान हो रहा है।