धर्मदास कुमार ने बताया कि बाइक, साइकिल, कार और डोजर तक की मरम्मत करते हैं। कंप्रेशर मशीन तक लगाया गया है।
सूचनाजी न्यूज, बोकारो। स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड-सेल के बोकारो स्टील प्लांट ने पिछले साल एक पंक्चर की दुकान खोली थी। यह दुकान कर्मचारियों और अधिकारियों की सुविधा के लिए खोली गई थी, जिसका रिजल्ट उम्मीद से ज्यादा बेहतर आया है।
एक साल से भीतर कर्मचारियों और अधिकारियों को कठिनाइयों से निजात मिल रही है। साथ ही पंक्चर बनाने वाले बंदे की रोज की कमाई भी एक हजार से लेकर 3 हजार तक पहुंच चुकी है। अब तो एक मिस्त्री भी रखकर कार्मिकों को टेंशन फ्री किया जा रहा है।
बीएसएल के मशीन शॉप कैंटीन गोल चक्कर पर पंक्चर की दुकान खुली हुई है। पंक्चर की दुकान चलाने वाले धर्मदास कुमार ने Suchnaji.com को बताया कि यहां दुकान खुलने से कर्मचारियों को बहुत राहत मिल रही है। मेरे पास फोन करके लोग बुला लेते हैं।
इससे यह फायदा हो रहा है कि कर्मचारियों और अधिकारियों का कामकाज प्रभावित नहीं हो रहा है। वे उत्पादन में लगे रहते हैं और इधर, उनके खराब वाहन का मरम्मत हो जाता है। पहले, प्लांट के भीतर वाहन खराब होने और पंक्चर होने की वजह से कर्मचारियों को धक्का देकर वाहन प्लांट के बाहर ले जाना पड़ता था। अब ये समस्या दूर हो गई है। प्लांट के हर विभाग से लोग फोन करके अपने वाहनों की मरम्मत करा रहे हैं।
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धर्मदास कुमार ने बताया कि बाइक, साइकिल, कार और डोजर तक की मरम्मत करते हैं। कंप्रेशर मशीन तक लगाया गया है। ट्यूबलेस टायर का भी पंक्चर बनाते हैं। हेल्पलाइन नंबर सार्वजनिक होने की वजह से प्लांट में कार्मिकों को भटकना नहीं पड़ रहा है। वहीं, सेल के अन्य इकाइयों के कार्मिकों ने भी इस तरह की सुविधा अपने-अपने प्लांट में देने की आवाज उठाई थी। लेकिन, किसी अन्य प्लांट से इस तरह की कोई खबर सामने नहीं आई है। जबकि बोकारो के कार्मिक बेहतर सुविधा का फायदा उठा रहे हैं।