- ध्यान देने की बात है कि जो आवेदक 1.9.2014 से पहले रिटायर हो चुके हैं, वे उच्च पेंशन के लिए अपात्र हैं।
सूचनाजी न्यूज, छत्तीसगढ़। ईपीएस 95 हायर पेंशन को लेकर अच्छी खबर है। एनएमडीसी के पूर्व कार्मिकों को बड़ी राहत मिलने जा रही है। एनएमडीसी में अंततः लगभग तीन वर्षों के पश्चात हायर पेंशन प्रारंभ हो गई।
4.12.2025 को ईपीएफओ कार्यालय से एनएमडीसी के रिटायर्ड कर्मचारी को पहला मांग पत्र (डिमांड लेटर) जारी किया गया। इन तीन वर्षों में एनएमडीसी के आवेदकों के संयुक्त विकल्पों पर समय समय पर ईपीएफओ ने बहुत से प्रश्न उठाए। बहुत से रिकॉर्ड्स मांगे, यही नहीं उनकी जांच कमेटी ने एनएमडीसी के कार्यालय में जाकर कई बार उनके अभिलेखों का गहन निरीक्षण किया।
बारम्बार अतिरिक्त सूचनाएं चाही। ज्ञातव्य हो कि ईपीएफओ ने अपने पत्र दिनांक 22.3.2025 के द्वारा उच्च पेंशन के लिए एनएमडीसी की पात्रता पर सवाल उठाए और एनएमडीसी को उच्च पेंशन हेतु अपात्र घोषित करते हुए, समस्त आवेदनों को निरस्त कर दिया।
हालांकि यह एक निराशाजनक दौर था, लेकिन एक तरफ तो उनके हर सवाल का, एनएमडीसी द्वारा अपने पत्र दिनांक 11.4.205 के द्वारा, समुचित समाधान किया गया। और दूसरी तरफ ऑल इंडिया एनएमडीसी रिटायर्ड एम्पलाइज वेलफेयर फेडरेशन के महासचिव एलएम सिद्दीकी अपने प्रतिनिधि मंडल के साथ सांसद विजय बघेल से मिले थे।
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साथ ही उन्होंने, नई दिल्ली में, अतिरिक्त केंद्रीय भविष्य निधि आयुक्त से अपॉइंटमेंट की व्यवस्था की। एलएम सिद्दीकी अपने प्रतिनिधि मंडल सर्व एसएस ठाकुर, अश्वनी कुमार सिंह और राजेंद्र पिल्लै के साथ 4.8.2025 को अतिरिक्त केंद्रीय भविष्य निधि आयुक्त से मिलकर संपूर्ण वृतांत बताया।
इस आग्रह के साथ की एनएमडीसी के लंबित आवेदनों पर तुरंत सकारात्मक कार्यवाही करें। विशेष तौर पर जब ईपीएफओ के समस्त प्रश्नों का स्पष्टीकरण दिया जा चुका है। जिस पर आयुक्त ने मदद करने का पूरा आश्वासन दिया।
इसी बीच हैदराबाद में एक अन्य प्रतिनिधि मंडल जिसमें मुख्यतः वी कृष्णय्या, बीएस शर्मा, मल्लेश्वरम, सीबीटी सदस्य से मिले और उनके सहायता मांगी। मल्लेश्वरम ने पूरा सहयोग और आश्वासन दिया और इस मामले में भविष्य निधि संगठन के संबंधित अधिकारियों से गहन चर्चा की।
कुल मिला कर तीन वर्षों के लंबे संघर्ष के बाद एनएमडीसी के आवेदकों को राहत मिलती दिख रही है। ध्यान देने की बात है कि जो आवेदक 1.9.2014 से पहले रिटायर हो चुके हैं, वे उच्च पेंशन के लिए अपात्र हैं।
संपूर्ण प्रकरण में एनएमडीसी मैनेजमेंट का रुख सौ प्रतिशत सकारात्मक रहा और हर समय उन्होंने कोई भी अभिलेख प्रस्तुत करने के लिए पूरी सहायता दी जो निश्चय ही प्रशंसात्मक है।
















