- ईपीएफओ को देने के बजाय बैंक में रखते तो इससे ज्यादा मिलता
- पैसा अगर बाहर ब्याज पर रखा जाता तो जितनी पेंशन मिल रही है, उससे ज्यादा ब्याज मिलता।
- टूटी-फूटी पेंशन में जीवन गुजारना छोड़ दीजिए, इस पर शुगर बीपी की दवाई भी नहीं ली जाती।
सूचनाजी न्यूज, महराष्ट्र। National Agitation Committee ईपीएस 95 न्यूनतम पेंशन (EPS 95 Minimum Pension) के आंदोलन को आगे बढ़ा रही है। महाराष्ट्र में राष्ट्रीय अध्यक्ष कमांडर अशोक राउत जमकर दहाड़े। उन्होंने कहा-मोदी सरकार को पेंशनर्स की मांग माननी ही होगी।
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शहर पवार के क्षेत्र किसानवीर हॉल सतारा में ईपीएस 95 पेंशनर्स (EPS 95 Pensioners) की बैठक राष्ट्रीय अध्यक्ष कमांडर अशोकराव राउत की अध्यक्षता में हुई। सतारा जिले के सभी तालुका पदाधिकारी भारी संख्या में उपस्थित रहे। छ. शिवाजीराजे की प्रतिमा पर पुष्प चढ़ाकर सभा का शुभारंभ किया गया।
राष्ट्रीय अध्यक्ष कमांडर राउत ने संगठन आंदोलन में भाग लेने की अपील की और विश्वास व्यक्त किया कि पेंशन मुद्दे पर हो रही घटनाओं की विस्तृत जानकारी देते हुए जल्द ही केंद्रीय स्तर पर उनकी मांग मानी जाएगी।
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184 निजी असंगठित क्षेत्रों में हालत खराब
देश के 184 निजी असंगठित क्षेत्रों में 75 लाख पेंशन धारक (सहयोग, जिला बैंक, अर्बन बैंक, चीनी कारखाने, वी. सेवा संस्थान, दूध संस्थान, सिविल पटपेढी, बिजली निगम, एसटी निगम, निजी अस्पताल, औद्योगिक कारखाने और मीडिया स्टाफ/पत्रकार आदि में EPS 95 स्कीम के तहत नाम मात्र 1000 से 3500 रुपए तक मिल रहा है।
जितना अंशदान दिया, उतनी पेंशन नहीं मिल रही
पेंशन धारकों ने नौकरी अवधि के दौरान पेंशन फंड में 417/-,541/-,1250/- प्रति माह जमा किए हैं। प्रत्येक कार्यकर्ता ने कम से कम 30 से 35 वर्ष सेवा की है और उनकी सेवा अवधि में कम से कम 20 लाख रुपये एकत्र किए गए हैं। इन्हें अपने शेयर दान पर ब्याज की पेंशन भी नहीं मिलती।
ईपीएफओ को देने के बजाय बैंक में रखते तो इससे ज्यादा मिलता
पैसा अगर बाहर ब्याज पर रखा जाता तो जितनी पेंशन मिल रही है, उससे ज्यादा ब्याज मिलता। ऐसे होते हुए भी टूटी-फूटी पेंशन मिल रही है। जीवन गुजारना छोड़ दीजिए, इस पर शुगर बीपी की दवाई भी नहीं ली जाती। EPS 95 योजना के तहत कम से कम 7500+मेडिकल+भत्ता आदि की मांग पिछले 8 साल से राष्ट्रीय संघर्ष समिति कर रही है।
8 साल से क्रमिक उपवास
बुलढाणा में पिछले 8 वर्षों से चल रहा है क्रमिक उपवास। इस बात का संज्ञान लेते हुए कई सांसदों ने लोकसभा में सरकार का ध्यान आकृष्ट किया है। मथुरा से सांसद हेमा मालिनी के सहयोग से प्रधानमंत्री को अशोक राउत एवं पदाधिकारियों ने 2021 व 2022 में बैठक कर विस्तृत चर्चा कर अवगत कराया।
उन्हें केवल आश्वासन मिला, लेकिन उन पर कार्रवाई तक नहीं हुई। लंबे समय के बाद पेंशनभोगी निराश हैं। इनमें पेंशनधारी 30 प्रतिशत भगवान के घर गए हैं।
जंतर-मंतर पर पहुंचने की अपील
अवसाद के कारण फेल पेंशन धारकों की स्थिति को लेकर राष्ट्रीय संघर्ष समिति समिति द्वारा राष्ट्रीय बैठक की जा रही है। अशोक राउत ने पेंशन धारकों से अपील की कि 31 जुलाई 2024 को राष्ट्रीय संघर्ष समिति द्वारा जंतर मंतर, दिल्ली में आक्रोश मोर्चा आयोजित कर केंद्र सरकार का ध्यान पाने के लिए भारी संख्या में उपस्थित रहें।
संगठन मजबूत करके आंदोलन का फैलेगा दायरा
भुजंगराव जाधव ने अपने प्रस्ताव में कहा कि संगठन को मजबूत करने और संगठन की एकता व ताकत दिखाने के लिए समय की जरूरत है। साथ ही सतारा जिले में हर तालुकावार सभा में संगठन को मजबूत किया जाएगा और संगठन से अनुरोध किया जाएगा कि आगामी सत्र में पेंशन के मुद्दे को इस संगठन की ताकत से हल किया जाए, जो पेंशन जाधव ने कहा कि जो करेगा उनके पीछे संगठन स्थापित किया जाएगा।
पेंशनभोगियों के कार्यक्रम में सतारा जिला बैंक के सीईओ राजेंद्र सरकले, दिलीप धारू, प्रह्लाद सपकाल, सरिता नरखेडे, सुभाषराव पोखकर, सुजीत शेख, राजेन्द्र बाराटक्के, रविन्द्र साळुंखे, महिला मोर्चा राष्ट्रीय अध्यक्ष शोभाताई आरास, जिला महिला अध्यक्ष सुमनताई साळुंखे, हनमंतराव कणसे, हनमंतराव साबळे, इब्राहिम मुजावर, शामराव खटावकर, प्रदीप पवार, शहाजी माने, एकनाथ चव्हाण, बालासाहेब अहिरे, प्रकाश पाटिल, विट्ठलराव जाधव आदि उपस्थित रहे। जिला बैंक ST, MSCB, शक्कर कारखाना, दूध संस्थान, विकास सोसा भुविकास बैंक नगरी बैंक सभा से सदस्य शामिल हुए।