न्यूनतम पेंशन 7500+DA और सरकार की नजर-अंदाजी

Minimum pension 7500+DA and government's neglect
पेंशनभोगियों को एकजुट होने का दम भरा। सभी ईपीएस-95 पेंशनभोगियों से अनुरोध किया है कि वे सेवानिवृत्त हों या कार्यरत हों।
  • मंत्रियों, सांसदों, विधायकों, राजनेताओं के लिए वेतन और पेंशन के लिए जिस तरह से सरकार पैसे का इंतजाम करती है, उसी तरह ईपीएस 95 के पेंशनभोगी के लिए इंतजाम हो।

सूचनाजी न्यूज, दिल्ली। न्यूनतम पेंशन 7500+DA की मांग उचित है। लेकिन, समस्या ईपीएस पेंशनरों (EPS Pensioner) और वर्तमान योगदान सदस्यों/श्रमिकों के बीच समर्थन और जागरूकता की कमी है। कुल मिलाकर लाखों में नहीं बल्कि करोड़ो में है।

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पेंशनभोगी RK Sangha का कहना है कि अगर ये सभी जागरूक हो कर अपनी न्यायसंगत मांग को बढ़ाएं तो कोई भी सरकार इसे नजरअंदाज नहीं कर सकती। वर्तमान सरकार इसे समर्थन की कमी देखती है और कुछ नहीं करती है।

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पेंशनभोगी राधाकृष्णन वीके का कहना है कि पैसा उसी स्रोत से आना चाहिए, जहां से सरकार निम्नलिखित के लिए धन मुहैया करा रही है। मंत्रियों, सांसदों, विधायकों आदि सहित राजनेताओं के लिए वेतन और पेंशन के लिए। विभिन्न सरकारी कर्मचारियों और पेंशनभोगियों के वेतन में वृद्धि और विभिन्न राजनीतिक दलों द्वारा घोषित मुफ्त उपहार, जिसमें मुफ्त राशन, मुफ्त यात्रा, वृद्धावस्था पेंशन आदि शामिल हैं।

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पेंशनर्स राजेंद्र पी. श्रीवास्तव ने पेंशनभोगियों को एकजुट होने का दम भरा। सभी ईपीएस-95 पेंशनभोगियों (EPS 95 Pensioners) से अनुरोध किया है कि वे सेवानिवृत्त हों या कार्यरत हों और ईपीएस-95 (EPS 95) के सदस्य एकजुट होकर एनएसी कमांडर अशोक राउत के नेतृत्व में सरकार को अपनी ताकत दिखाएं। हम अपनी मांगें मनवा लेंगे, क्योंकि एकता में ताकत है।

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सीपी. तिवारी ने कहा-सारी राजनीतिक जिज्ञासाएं हैं कि ईपीएस 95 पेंशनभोगियों (EPS 95 Pensioners) की पेंशन न बढ़े। वे इसी हाल में रहें। पिछले आठ वर्षों से उन्हें पेंशनरों की घुट्टी पिलाई जा रही है। सरकार के सारे तंत्र मीडिया से लेकर संसद, न्यूनतम सभी सरकार के साथ ईपीएस 95 पेंशनभोगियों की अलग-अलग पेंशन भरी जा रही है।

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