मोदीजी…! हर तरफ झांसा ही झांसा, अब आपका ही सहारा, SAIL वेज रिवीजन पूरा और 39 माह का एरियर दिलाइए

Mr. Modi…! Hoax everywhere, now your only support, complete SAIL wage revision and get 39 months arrears to the employees
  • प्रधानमंत्री दरबार पहुंचा सेल वेज रीविजन मामला।

सूचनाजी न्यूज, भिलाई। बीएसपी अनाधिशासी यूनियन ने पूरे दस्तावेजों के साथ प्रधानमंत्री, इस्पात मंत्री, श्रम मंत्री, इस्पात सचिव, डीपीई सचिव के पास वेज रीविजन को जल्द पूर्ण कराने के लिए 28 पृष्ठ का पत्र सह दस्तावेज भेजा है।

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पत्र में यूनियन पदाधिकारियों ने सवाल उठाया कि क्या कारण है कि सिर्फ सेल में ही वेतन समझौता लंबित है, बाकि सभी पीएसयू में पहले ही वेज रीविजन पूर्ण लाभ के साथ पुरा हो गया। उसके सभी कर्मचारियों को एरियर सहित सभी बढ़े हुए लाभों का भुगतान भी हो गया है।

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पिछली पूर्ण एनजेसीएस मीटिंग 19 जुलाई 2022 को होने के बाद अभी तक कोई भी फुल एनजेसीएस मीटिंग नहीं बुलाई गई है, जिसके कारण कर्मचारियों का वेतन समझौता 77 माह बाद भी अधुरा है।

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पत्र के माध्यम से डीपीई सचिव से अनुरोध किया गया है कि वह डीपीई द्वारा यूनियनाईज्ड वर्कमैन का वेज रीविजन हेतु दिए गए गाईडलाईन का सेल में भी पालन कराएं। वहीं, श्रम मंत्री से अनुरोध किया गया है कि सेल तथा एनजेसीएस नेताओं की भूमिका की जांच करें कि कर्मचारियों का प्रतिनिधित्व करने के नाम पर किस तरह अधिकतर नेता जबरदस्ती का प्रतिनिधी बने हुए है।

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वहीं, इस्पात मंत्री तथा इस्पात सचिव को भेजे पत्र में यूनियन ने दस्तावेजी सबूतों के आधार पर खुलासा किया है कि किस तरह सेल कर्मचारियों के वेतन समझौता में इस्पात मंत्रालय को गुमराह किया गया। एक ही कंपनी मे कार्य करने वाले कर्मचारी और अधिकारी वर्ग के बीच किस तरह भेदभाव किया गया? सभी पक्षों से यूनियन ने मांग किया है कि एनजेसीएस में 5 में से मात्र तीन यूनियनों की सहमती से किए गए MOU का कोई भी कानूनी आधार नहीं है।

अतः प्रधानमंत्री खुद हस्तक्षेप कर इस्पात मंत्रालय को निर्देश दें कि बाकि महारत्न तथा सेल अधिकारियों के तर्ज पर 15% MGB , 35% पर्क्स के साथ साथ 2007 से 9% पेंशन लाभ तथा फिटमेंट एरियर और पर्क्स एरियर का पूर्ण भुगतान सेल कर्मचारियों को कराने हेतु इस्पात मंत्रालय पहल करे।

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जानिए क्या बोले यूनियन नेता
हम झंडा ढोने, प्रदर्शन करने के लिए सेल में नियुक्त नहीं हुए हैं, जिस तरह कंपनी के उत्पादन लाभ में हमारा श्रम शामिल है। उसकी लाभ में हिस्सेदारी भी हमारा हक है। हम कर्मचारियों ने निजी लाभ के लिए यूनियन नहीं बनाया है। भिलाई के सभी कर्मचारी मासिक सदस्यता राशि के रूप में अगर निरंतर सहयोग करते है तो यूनियन अंत में न्यायालय की शरण मे जाकर कर्मचारियों का अधिकार लेकर रहेगी।
अमर पटेल, अध्यक्ष

कर्मचारी काम करें, कंपनी को लाभ में लाए हैं। कर्ज घटाए है। परंतु कर्मचारियों का प्रतिनिधित्व बाहरी तथा रिटायर नेता कर रहे हैं। एनजेसीएस नेताओं का प्रदर्शन 77 माह से हम भिलाई के कर्मचारी देख रहे है। कर्मचारियों की सभी सुविधा को बंद कराकर सिर्फ अधुरा डीए बेसिक पर लाकर ये यूनियन नेता छोड़ दिए है।
अभिषेक सिंह, महासचिव

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