सूचनाजी न्यूज, भिलाई। सेल राउरकेला इस्पात संयंत्र (आरएसपी) के मैटेरियल रिकवरी डिपार्टमेंट (एम्आरडी) द्वारा अपशिष्ट के साथ बेसिक ऑक्सीजन फर्नेस (बीओऍफ़) स्लैग के प्रभावी निपटान ने भारी राजस्वार्जन करने में मदद की है और भविष्य में स्लैग के डंपिंग के लिए जगह बनाई है जिससे निर्बाध उत्पादन सुनिश्चित हुआ है।
उल्लेखनीय है कि, एमआरडी ने विपणन विभाग के साथ मिलकर संचित एलडी/बीएफ स्लैग के निपटान की पहल की है। इन प्रयासों से इस्पात संयंत्र को 2021-22 और 2022-23 में पुराने स्लैग डंप से 1.4 लाख क्यूबिक मीटर (सीबीएम) स्लैग का निपटान करने में मदद मिली। इसने न केवल 43.5 करोड़ रुपये का उपयोगी राजस्व अर्जित किया बल्कि पर्याप्त जगह भी उपलब्ध कराया जो इस्पात उद्योग में उत्पादन श्रृंखला को बनाए रखने के लिए महत्वपूर्ण है।
बीओएफ स्लैग के प्रभावी निपटान के लिए और पर्याप्त जगह उपलब्ध कराने के एक नए प्रयास में, पाइप प्लांट के पास स्लैग डंप क्षेत्र से कूड़े-कचरे के साथ 1 लाख सीबीएम बीओएफ स्लैग को बेचा गया है, जिससे लगभग 76 करोड़ रुपये का राजस्व अर्जित हुआ है।
स्लैग प्रेषण गतिविधि का उद्घाटन कार्यपालक निदेशक (वर्क्स) एसआर सूर्यवंशी द्वारा किया गया। मुख्य महाप्रबंधक प्रभारी (सेवाएं) डी दत्ता और आरएसपी के अन्य वरिष्ठ अधिकारी इस अवसर पर उपस्थित थे। स्लैग के निपटान से लगभग 6 महीने के लिए स्लैग की डंपिंग के लिए जगह बन पाएगी। प्रारंभ में, महाप्रबंधक (एमआरडी) चिंतामणि महापात्र ने इस्पात संयंत्र में उत्पादन की स्थिरता के लिए स्लैग के निपटान के महत्व को समझाया।